New Delhi:-दिल्ली वायु प्रदूषण के बिगड़ने पर की ये 10 बात
नई दिल्ली: (New Delhi) दिल्ली सरकार ने नागरिकों को WFH (वर्क फ्रॉम होम) की सलाह दी है, क्योंकि केंद्र के पैनल ने राजधानी में खराब होती हवा की गुणवत्ता के बीच गैर-जरूरी निर्माण, विध्वंस कार्य (demolition work) पर प्रतिबंध लगा दिया है।
इस बड़ी कहानी के मुख्य बिंदु इस प्रकार हैं:
दिल्ली का 24 घंटे का औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक ( average air quality index) शुक्रवार को 399 रहा। 201 और 300 के बीच AQI को ‘खराब’, 301 और 400 के बीच ‘बेहद खराब’ और 401 और 500 के बीच ‘गंभीर’ माना जाता है।
केंद्र के वायु गुणवत्ता पैनल ने शुक्रवार को कहा कि AQI के शांत हवाओं और स्थिर वायुमंडलीय (atmospheric) स्थितियों के कारण ‘गंभीर’ श्रेणी में जाने की संभावना है।
हवा की गुणवत्ता कल तक ‘गंभीर’ रहने की संभावना है।
अगले चरण – ‘सीवियर प्लस’ (severe plus) में दिल्ली में ट्रकों के प्रवेश पर प्रतिबंध, शैक्षणिक संस्थानों को बंद करने और सम-विषम आधार पर वाहनों को चलाने आदि जैसे कदम शामिल हैं।
दिल्ली सरकार आज तय करेगी कि BS-III पेट्रोल और BS-IV डीजल चौपहिया वाहनों के इस्तेमाल पर प्रतिबंध लगाया जाए या नहीं।
Plumbing, carpentry, interior decoration और electrical work जैसी गैर-प्रदूषणकारी गतिविधियों की अनुमति है।
इससे पहले, केंद्र के वायु गुणवत्ता पैनल ने बुधवार को कहा कि दिल्ली-एनसीआर (Delhi-NCR) में कोयले सहित गैर-अनुमोदित ईंधन का उपयोग करने वाले उद्योग 1 जनवरी से बंद हो जाएंगे और उन पर भारी जुर्माना लगाया जाएगा।
हालांकि, ताप विद्युत संयंत्रों (thermal power plants) में कम सल्फर वाले (low-sulphur coal) कोयले के उपयोग की अनुमति है।
अक्टूबर-नवंबर में Delhi-NCR में खतरनाक प्रदूषण के स्तर के पीछे एक प्रमुख कारण पराली जलाना, इस साल पंजाब में 30 प्रतिशत और हरियाणा में 48 प्रतिशत की कमी आई है।
एक सरकारी रिपोर्ट से पता चला है कि यमुना में प्रदूषक भार पिछले पांच वर्षों में काफी बढ़ गया है। दिल्ली सरकार ने 2025 तक नदी को नहाने के स्तर तक साफ करने का वादा किया था।